बिहार के प्राथमिक विद्यालयों में रिक्त पड़े 94 हजार पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया शीघ्र ही पूरी की जाएगी। बिहार की नीतीश सरकार ने शिक्षा विभाग को 94 हजार प्राइमरी शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया को पारदर्शिता के साथ पूरा करने का निर्देश दिया है। इस बात की जानकारी शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने दी है। संजय कुमार ने एक ट्वीट में लिखा- 'माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार के शिक्षा विभाग को प्राइमरी शिक्षकों की भर्ती में पारदर्शिता बनाए रखते हुए सभी प्रक्रियाओं को सुनिश्चित करते हुए अंत तक ले जाने का निर्देश दिया है। विभाग इस पर काम कर रहा है।'
the honble cm @NitishKumar has directed the @BiharEducation_ dept to take the ongoing recruitment of primary school teachers to its logical end while maintaining transparency and ensuring the sanctity of the process.the dept is working on this.@AshokChoudhaary
— Sanjay Kumar (@sanjayjavin) January 28, 2021
आपको बता दें कि प्राइमरी स्कूलों में होने वाले शिक्षकों की बहाली मामले में पटना हाईकोर्कट ने कहा था कि 23 नवंबर, 2019 के पहले के सीटीईटी परीक्षा पास उम्मीदवार ही बहाली प्रक्रिया मे भाग ले सकते हैं। न्यायमूर्ति डॉ अनिल कुमार उपाध्याय की एकलपीठ ने नीरज कुमार व अन्य की ओर से दायर अर्जी अपना फैसला सुनाया। कोर्ट ने अर्जी को खारिज कर दिया। इससे पहले मामले पर सुनवाई पूरी कर कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित कर लिया था।
माध्यमिक शिक्षकों को 15 जुलाई तक मिल जाएगा नियोजन पत्र-
राज्य के सरकारी माध्यमिक-उच्च माध्यमिक विद्यालयों में छठे चरण के नियोजन के तहत अंतिम रूप से चयनित 30020 शिक्षक अभ्यर्थियों को अगले माह नियोजन पत्र मिल जाएगा। शिक्षा विभाग ने गुरुवार शाम मार्च आखिर में कोरोना संक्रमण की वजह से रोकी गई नियोजन प्रक्रिया का संशोधित शेड्यूल जारी कर दिया। 20 जून को मेधा सूची का अंतिम प्रकाशन होगा। 14 जुलाई को नगर निकायों व 15 जुलाई को जिला परिषद में नियोजन पत्र बांटे जाएंगे। यह नियुक्ति शिक्षा विभाग के लिए राज्य की सभी पंचायतों में 9वीं कक्षा की पढ़ाई आरंभ करने को लेकर ज्यादा जरूरी है। छठे चरण के तहत माध्यमिक-उच्च माध्यमिक शिक्षकों के नियोजन की प्रक्रिया करीब 11 माह पहले आरंभ हुई थी। कई बार विभिन्न कारणों से इसके कार्यक्रम में बदलाव हुआ।
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