झारखंड सरकार द्वारा राज्य के हड़ताली पैरा टीचर को दिया गया अल्टीमेटम
20 नवंबर को खत्म हो जाएगा. हालांकि, पैरा टीचर झुकने के मूड में नहीं है.
पैरा शिक्षकों ने अपना आंदोलन और तेज करने का निर्णय लिया है. इधर पैरा शिक्षकों के रुख पर सीएम रघुबर दास भी सख्त हैं. मुख्यमंत्री के मुताबिक पैरा शिक्षक गुंडागर्दी कर रहे हैं.
बता दें कि 15 नवम्बर यानी झारखंड स्थापना दिवस के दिन पैरा शिक्षकों ने अपनी पुरानी मांगों को लेकर सरकारी कार्यक्रमों का विरोध किया था और सरकार को काले झंडे दिखाए थे. रघुवर सरकार को शिक्षकों का ये तरीका इस कदर नागवार गुजरा कि न सिर्फ इन्हें पुलिस की लाठियां खानी पड़ीं बल्कि तकरीबन 300 शिक्षकों को जेल भी भेज गिया गया.
झारखंड सरकार की इस कार्रवाई के बाद पैरा शिक्षक बेहद गुस्से में हैं. इन शिक्षकों का कहना है कि लोकतंत्र में विरोध करना कहीं से भी अपराध नहीं है, सरकार ने अन्याय किया और लाठीचार्ज किया है. पैरा टीचर संघर्ष मोर्चा ने मांग की है कि शिक्षकों पर जो कार्रवाई की गई है, वह वापस ली जाए. संघर्ष मोर्चा का कहना है कि सरकार पैरा शिक्षकों को समान कार्य के लिए समान वेतन दे. झारखंड प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ ने पैरा शिक्षकों की मांगों का समर्थन किया है.
संघ ने पैरा शिक्षकों पर हुए लाठीचार्ज की निंदा की है. संघ ने पैरा शिक्षकों के हड़ताल को लेकर सरकारी विद्यालय के शिक्षकों के प्रतिनियोजन का भी विरोध किया है. संघ का कहना है कि इससे सभी विद्यालयों का पढ़ाई-लिखाई का काम प्रभावित होगा. बता दें कि फरवरी में आठवीं की बोर्ड परीक्षा होनी है. सरकारी शिक्षकों का कहना है कि अगर पैरा शिक्षकों के जगह पर उन्हें लगाया गया तो ऐसे में पाठ्यक्रम पूरा नहीं हो पाएगा.
पैरा शिक्षकों ने अपना आंदोलन और तेज करने का निर्णय लिया है. इधर पैरा शिक्षकों के रुख पर सीएम रघुबर दास भी सख्त हैं. मुख्यमंत्री के मुताबिक पैरा शिक्षक गुंडागर्दी कर रहे हैं.
बता दें कि 15 नवम्बर यानी झारखंड स्थापना दिवस के दिन पैरा शिक्षकों ने अपनी पुरानी मांगों को लेकर सरकारी कार्यक्रमों का विरोध किया था और सरकार को काले झंडे दिखाए थे. रघुवर सरकार को शिक्षकों का ये तरीका इस कदर नागवार गुजरा कि न सिर्फ इन्हें पुलिस की लाठियां खानी पड़ीं बल्कि तकरीबन 300 शिक्षकों को जेल भी भेज गिया गया.
झारखंड सरकार की इस कार्रवाई के बाद पैरा शिक्षक बेहद गुस्से में हैं. इन शिक्षकों का कहना है कि लोकतंत्र में विरोध करना कहीं से भी अपराध नहीं है, सरकार ने अन्याय किया और लाठीचार्ज किया है. पैरा टीचर संघर्ष मोर्चा ने मांग की है कि शिक्षकों पर जो कार्रवाई की गई है, वह वापस ली जाए. संघर्ष मोर्चा का कहना है कि सरकार पैरा शिक्षकों को समान कार्य के लिए समान वेतन दे. झारखंड प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ ने पैरा शिक्षकों की मांगों का समर्थन किया है.
संघ ने पैरा शिक्षकों पर हुए लाठीचार्ज की निंदा की है. संघ ने पैरा शिक्षकों के हड़ताल को लेकर सरकारी विद्यालय के शिक्षकों के प्रतिनियोजन का भी विरोध किया है. संघ का कहना है कि इससे सभी विद्यालयों का पढ़ाई-लिखाई का काम प्रभावित होगा. बता दें कि फरवरी में आठवीं की बोर्ड परीक्षा होनी है. सरकारी शिक्षकों का कहना है कि अगर पैरा शिक्षकों के जगह पर उन्हें लगाया गया तो ऐसे में पाठ्यक्रम पूरा नहीं हो पाएगा.
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