पाकुड़ : समान काम के
लिए समान वेतन और स्थायीकरण की मांग कर रहे झारखंड के पारा शिक्षकों को
मुख्यमंत्री रघुवर दास ने स्पष्ट कर दिया है कि उनकी सीधी नियुक्ति नहीं हो
सकती. झारखंड में किसी भी पार्टी की सरकार बन जाये, उनकी यह मांग नहीं
मानी जा सकती.
इसलिए भलाई इसी में है कि पारा शिक्षक काम पर लौट जायें.
स्कूल ज्वाइन कर लें और बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ न करें. मुख्यमंत्री
संताल परगना के पाकुड़ जिला में आयोजित जनचौपाल में ये बातें कहीं.
मुख्यमंत्री ने कहा कि शिक्षा में सुधार
के लिए गांव के पढ़े लिखे युवक-युवतियों को स्कूल में घंटी आधारित पढ़ाने के
लिए रखें. शिक्षित होते ही उनके जीवन में बदलाव आ जायेगा. अधिकारियों को
निर्देश दिया कि जो पारा शिक्षक काम पर नहीं लौटते हैं, उन्हें नोटिस जारी
कर बाहर करें. टेट पास युवाओं को बहाल करें.
इससे पहले मुख्यमंत्री ने पाकुड़ परिसदन
सभागार में जिले में चल रही विकास योजनाओं की समीक्षा की. कहा कि पाकुड़
में सड़क, बिजली, पेयजल, शिक्षा, स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार की काफी
संभावनाएं हैं. इस वर्ष के अंत तक क्षेत्र के घर-घर में बिजली पहुंचा दी
जायेगी. हर घर में स्वच्छ पेयजल पहुंचाना हमारी प्राथमिकता है. यहां
डिस्ट्रिक्ट माइनिंग फंड के तहत पाइपलाइन के माध्यम से स्वच्छ पानी
पहुंचाने के काम में तेजी लायी जायेगी. आदिम जनजाति के परिवारों को भी पीने
के पानी की सुविधा पाइपलाइन के माध्यम से पहुंचायेंगे.
पत्थर खनन का लाइसेंस मिलेगा
मुख्यमंत्री ने कहा कि यहां पत्थर की अवैध
माइनिंग की काफी शिकायतें हैं. कानून के दायरे में रहते हुए इन खदानों को
खनन का लाइसेंस दिया जायेगा. इससे सरकार को भी राजस्व मिलेगा.
समूह बनाकर गव्य पालन के लिए आगे आयें युवा
मुख्यमंत्री ने कहा कि आधुनिक तकनीक से
खेती करेंगे, तो आय बढ़ेगी. पाकुड़ से दो किसान इस्राइल गये थे. नयी तकनीक
सीख कर आये हैं. उन्हें मास्टर ट्रेनर बनाकर गांव-गांव में किसानों को
प्रशिक्षण दिलवायें. युवाओं का समूह बनाकर उन्हें गव्य पालन के लिए प्रेरित
करें. इसी प्रकार सखी मंडल के माध्यम से महिलाओं को प्रशिक्षित कर उन्हें
रोजगार से जोड़ें.
अस्थिरता नहीं फैलने देंगे
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में
कानून-व्यवस्था में कोताही बर्दाश्त नहीं करेंगे. राष्ट्र विरोधी शक्तियों
को किसी भी कीमत पर पनपने नहीं दिया जायेगा. क्षेत्र में अस्थिरता फैलाने
की किसी को अनुमति नहीं दी जायेगी. बांग्लादेशी घुसपैठ को रोकने और जबरन
धर्मांतरण करने वालों पर विशेष नजर रखेंय इस क्षेत्र में इसकी काफी
शिकायतें हैं. जो भी लालच देकर या जबरन धर्मांतरण कराये, उसके खिलाफ कठोर
कार्रवाई करें.
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