साहिबगंज : संस्कृत शिक्षा बोर्ड द्वारा शिक्षक दिनेश कुमार सन्यासी,
प्रभावती कुमारी, शुभनारायण राय व विधानचंद्र राय का प्रमाणपत्र फर्जी करार
देने के बाद मामले में निर्णय लेने के लिए क्षेत्रीय शिक्षा उपनिदेशक
राजकुमार सिंह ने जिला शिक्षा पदाधिकारी अर्जुन कुमार की अध्यक्षता में चार
सदस्यीय कमेटी गठित की है।
इसमें डीएसई प्रमोद प्रसाद, शिक्षा उपाधीक्षक, बरहड़वा व मंडरो बीईईओ शामिल हैं। कमेटी के सदस्यों ने रविवार को सभी शिक्षकों को पेश होने को कहा था। सभी शिक्षकों ने पेश होकर अपना पक्ष रखा। बताया जाता है कि प्रारंभ में शिक्षकों को जांच रिपोर्ट दिखायी गई तो सभी ने एक स्वर से कहा कि गलत प्रमाणपत्र जांच के लिए भेज दिया गया जिस वजह से यह रिपोर्ट आयी। टीम के सदस्यों ने सभी से सही प्रमाणपत्र पेश करने को कहा तो वे पेश नहीं कर सके। टीम अब जांच रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को सौंपेगी। इसके बाद इन चारों पर निर्णय लिया जाएगा। गौरतलब हो कि जिले के विभिन्न स्कूलों में कार्यरत चार शिक्षकों का प्रमाणपत्र फर्जी मिला है। इन प्रमाणपत्रों को जांच के लिए बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड को भेजा गया था। वहां से भेजी गई रिपोर्ट में सभी प्रमाणपत्रों को फर्जी करार दिया गया है। इसके बाद इन शिक्षकों की बर्खास्तगी की कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
इसमें डीएसई प्रमोद प्रसाद, शिक्षा उपाधीक्षक, बरहड़वा व मंडरो बीईईओ शामिल हैं। कमेटी के सदस्यों ने रविवार को सभी शिक्षकों को पेश होने को कहा था। सभी शिक्षकों ने पेश होकर अपना पक्ष रखा। बताया जाता है कि प्रारंभ में शिक्षकों को जांच रिपोर्ट दिखायी गई तो सभी ने एक स्वर से कहा कि गलत प्रमाणपत्र जांच के लिए भेज दिया गया जिस वजह से यह रिपोर्ट आयी। टीम के सदस्यों ने सभी से सही प्रमाणपत्र पेश करने को कहा तो वे पेश नहीं कर सके। टीम अब जांच रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को सौंपेगी। इसके बाद इन चारों पर निर्णय लिया जाएगा। गौरतलब हो कि जिले के विभिन्न स्कूलों में कार्यरत चार शिक्षकों का प्रमाणपत्र फर्जी मिला है। इन प्रमाणपत्रों को जांच के लिए बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड को भेजा गया था। वहां से भेजी गई रिपोर्ट में सभी प्रमाणपत्रों को फर्जी करार दिया गया है। इसके बाद इन शिक्षकों की बर्खास्तगी की कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
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