रांची.लंबे समय से हड़ताल पर चल रहे
शिक्षा व परियोजना से जुड़े 46 हजार से ज्यादा कर्मचारियों और पदाधिकारियों
को सरकार ने पहली बार शनिवार को अल्टीमेटम दिया। तारीखें देकर कहा है कि
वे इससे पहले काम पर नहीं लौटे, तो बर्खास्त कर दिए जाएंगे। नई बहालियां
होंगी। हड़ताल के कारण हजारों स्कूल और दफ्तर बंद हैं।
हड़ताल पर हैं कर्मचारी
40
हजार से ज्यादा पारा टीचर्स के अलावा कस्तूरबा स्कूल के 1200 से ज्यादा
टीचर्स, 1900 प्रोजेक्ट कर्मचारी और 3500 बीआरपी/सीआरपी कर्मचारी हड़ताल पर
हैं। झारखंड शिक्षा परियोजना के निदेशक मुकेश कुमार ने शनिवार को प्रेस
काॅन्फ्रेंस में कहा कि सरकार ने इनकी कई मांगों को मान लिया है और कई
मांगों पर विचार किया जा रहा है।
काम पर लौटने का अल्टीमेटम
इसके
बाद भी वे हड़ताल पर हैं। इसलिए उन्हें काम पर लौटने का अल्टीमेटम दिया
गया है। उन्होंने कहा कि पारा शिक्षक 25 फीसदी मानदेय बढ़ाने की मांग कर
रहे हैं। केंद्र ने 10 फीसदी बढ़ोतरी की है। इसे राज्य में लागू कर दिया
गया है। शेष 15 फीसदी के लिए पुन: केंद्र से अनुरोध किया जाएगा। कस्तूरबा
स्कूलों के शिक्षकों का मानदेय बढ़ाने के प्रस्ताव को केंद्र ने रिजेक्ट कर
दिया है।
कब से हड़ताल पर
17 सितंबर से करीब 40 हजार टीचर्स हड़ताल पर हैं। परियोजना कार्यालय समक्ष धरना पर हंै।
कब से हड़ताल पर
13 अक्टूबर से 1200 शिक्षक हड़ताल पर हैं। वे परियोजना कार्यालय व राजभवन के समक्ष धरना दे रहे हैं।
कब से हड़ताल पर
1900 प्रोजेक्ट अफसर और कर्मचारी 14 सितंबर से हड़ताल पर हैं। परियोजना कार्यालय के पास धरना पर हैं।
कब से हड़ताल पर
17 सितंबर से। 3500 कर्मचारी हड़ताल पर हंै। परियोजना कार्यालय डोरंडा के समक्ष धरना चल रहा है।
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